सऊदी अरब: अमेरिका और इजराइल को पस्त करने के बाद फिलिस्तीन को आजाद मुल्क बनाने की मांग

सऊदी अरब के साथ राजनीतिक संबंधों पर जो है मोहर लगाए जाएंगे

सऊदी अरब ने एक ही झटके में अमेरिका और इजराइल दोनों को पस्त कर दिया है और साफ शर्तें रख दी हैं कि फिलिस्तीन को आजाद मुल्क बनाए बगैर कोई भी बातचीत नहीं की जाएगी। इसके साथ ही, सऊदी अरब ने साफ इंकार कर दिया है कि वह अमेरिका और इजराइल के साथ राजनीतिक संबंध बनाएगा। ताजा खबरों के मुताबिक, चार महीने हो चुके हैं इजराइल और फिलिस्तीन के बीच युद्ध को जिस तरीके की नरसंगारेडी आई है, उसके कारण पूरी दुनिया भर में इसको लेकर प्रदर्शन किए गए। जिससे लोगों में यह नाराजगी थी कि सऊदी अरब जो है, वह बोल क्यों नहीं रहा।








 सऊदी अरब के नागरिकों की नाराजगी

सऊदी अरब के नागरिकों में यह नाराजगी थी कि वह अरब देशों को सामने नहीं आ रहे थे। हालांकि इसके बावजूद, कई देशों ने खुलेआम हमास को समर्थन दिया हत्यारों के साथ भी और सैन्य बल भी दिए और इसके कारण हमास ने इजराइल के साथ लड़ने में सफलता प्राप्त की। अब इजराइल के सैनिकों को अब हमास खदेड़ कर भगा रहा है और इसके चलते गाजा में इजराइल के तरफ से जो स्थिति उत्पन्न हुई है, उसके बारे में तमाम इलाकों में चर्चा हो रही है।

अमेरिका की पहल के बाद सऊदी अरब का इंकार

अमेरिका और इजराइल के साथ राजनीतिक संबंध बढ़ाने की चाह में थे, लेकिन सऊदी अरब ने इससे साफ इंकार कर दिया है। सऊदी अरब ने कहा है कि जब तक फिलिस्तीन को आजाद मुल्क की तरह नहीं घोषित किया जाता, तब तक अमेरिका और इजराइल के साथ कोई भी संबंध नहीं रखा जाएगा। सऊदी अरब ने अपनी शर्तों को मानने की मांग की है और उसके बाद ही इजराइल के साथ संबंधों पर बातचीत की जाएगी।

इजराइल की हार और फिलिस्तीन की मांग

इजराइल के साथ चार महीने तक युद्ध करने के बाद, फिलिस्तीन की मांग बढ़ गई है कि वह एक आजाद मुल्क के रूप में मान्यता प्राप्त करेगा। फिलिस्तीन के नागरिकों को पूरी स्वतंत्रता मिलेगी और इजराइल को कोई भी हस्तक्षेप नहीं करना पड़ेगा। इसके साथ ही, सऊदी अरब ने अपनी शर्तें रखी हैं कि इजराइल फिलिस्तीन के साथ कोई भी संबंध नहीं बनाएगा जब तक फिलिस्तीन को आजाद मुल्क की तरह मान्यता नहीं मिल जाती।


युद्ध विराम के आसार

युद्ध विराम के आसार बढ़ रहे हैं जब सऊदी अरब ने अपनी शर्तें पेश की हैं और उन्हें मोहर लगाने की जरूरत है कि फिलिस्तीन को इजराइल पूरी तरह से आजाद करेगा। इससे पहले इजराइल और फिलिस्तीन के बीच युद्ध चल रहा था और इजराइल ने बहुत सी ज़मीन कब्ज़े में कर ली थी। अब तक फिलिस्तीन को आजाद मुल्क की तरह मान्यता नहीं मिली है और अगर इजराइल यह घोषणा नहीं करता कि फिलिस्तीन एक आजाद मुल्क बनेगा, तो उसे किसी भी तरीके से सऊदी अरब के साथ कोई राजनीतिक संबंध नहीं बनाने पड़ेंगे।


कितने दिनों तक चलेगा युद्ध?

चार महीने तक चलने वाले युद्ध के बाद, बड़ी खबर है कि इजराइल और फिलिस्तीन के बीच युद्ध विराम में बदल सकता है। इसके बावजूद, इजराइल को तमाम शर्तें माननी पड़ेंगी जो हमास ने रखी थी। इसके चलते, घोषणा की जा सकती है कि इजराइल और फिलिस्तीन के बीच युद्ध विराम हो गया है और इजराइल ने हरजाना भुगतना पड़ा है। इजराइल की जो क्लियरी की हुई बर्बादी है, उसका निर्माण इजराइल को कराना पड़ेगा।


मीटिंग में सीज फायर के आसार

कतर में हुई मीटिंग में सीज फायर को लेकर जो है बातचीत हुई है और जिस तरीके से फिलिस्तीन की मांगों को लेकर हमास ने उठाई गई शर्तों को लेकर इजराइल ने सहमति बयां की है। इसके साथ ही, अमेरिका को भी इस बारे में राय देनी होगी। ताजी खबरों के मुताबिक, युद्ध विराम के आसार बढ़ रहे हैं और एक बार फिर मीटिंग हुई है जहां पर सीज फायर को लेकर बातचीत हुई है। उम्मीद की जा रही है कि इजराइल और फिलिस्तीन के बीच युद्ध विराम हो गया है और इजराइल ने हरजाना भुगतना पड़ा है।



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